21-Jun-2014 04:34 AM
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नरेंद्र मोदी ने नवाज शरीफ से हाथ मिलाते हुये फोटो पर्याप्त खिंचवा लिये। अब उन्हें कुछ ठोस कदम उठाने चाहिये। शहीद हेमराज का सर अभी भी शत्रु की जमीन पर है। मुंबई बम कांड के आरोपी खुले घूम रहे हैं। सीमा पर आंतकवादियों की घुसपैठ जारी है। आईएसआई भारत में आतंकवादियों की फौज तैयार करने में जुटी हुई है। ऐसी स्थिति में मेहमानवाजी शोभा नहीं देती, लेकिन प्रधानमंत्री ने जो माहौल बनाने की कोशिश की वह कोशिश भी बुरी नहीं है। बातचीत की शुरूआत तो होनी ही चाहिये, लेकिन भारत को पाकिस्तान पर यह दबाव बनाना होगा कि ठोस कदम उठाये बगैर दोनों देश शांतिपूर्ण तरीके से नहीं रह सकते। आतंकवाद सबसे बड़ी समस्या है। इससे लडऩा ही होगा।
पाकिस्तान पर ज्यादा भरोसा नहीं किया जा सकता।
वहां लोकतंत्र आज भी फौज के हाथ में गिरवी है। नवाज शरीफ को भारत आने के लिये फौज के सामने गिड़गिड़ाना पड़ा था।
- मजहर हुसैन, मुंबई
कठोर कार्रवाई हो
सिमी के कार्यकर्ताओं ने जिस तरह भोपाल के कोर्ट में नरेंद्र मोदी के खिलाफ नारे लगाये वह चिंता का विषय है। नरेंद्र मोदी ने सुरक्षा में कटौती की है ऐसी स्थिति में देश की आंतरिक सुरक्षा को मजबूत बनाना जरूरी है। सिमी जैसे संगठन भोले-भाले नौजवानों को बरगला कर उन्हें आतंक की राह पर धकेल रहे हैं। इसलिये भारत सरकार को एक मजबूत खुफिया तंत्र बनाना होगा ताकि सीमा पार से भारत विरोधी तत्वों को मिल रहा समर्थन और धन का स्रोत बंद हो सके। पाकिस्तान धर्म की आड़ में भारत विरोधी भावनायें भड़का सकता है।